Benefits Of Isabgol.:-दोस्तों हमारे आस-पास कई ऐसे पौधे देखने को मिलते हैं, जो औषधीय गुणों से भरपूर होते हैं। इन्हीं में से एक है इसबगोल कम ही लोग इसबगोल के बारे में जानते होंगे। लेकिन आयुर्वेद के अनुसार यह एक गुणकारी पौधा होता है। इसे कई बिमारियों में आराम पाने के लिए उपयोग में लाया जाता है।
दोस्तों आज इस खास आर्टिकल में आपको इसबगोल खाने के फायदों के बारे में बताने वाला हूँ। साथ ही इसके क्या नुकसान होते हैं? इसको खाना कैसे हैं और इसकी कितनी मात्रा लेनी चाहिए ये भी में आपको बताने वाला हूँ।
इसबगोल एक झाड़ीनुमा पौधा है, जो कुछ-कुछ गेहूं के पौधे की तरह दिखता है। इसका वैज्ञानिक नाम प्लांटागो ओवाटा (Plantago ovata) है। इसके सिरों में गेहूं जैसी बालियां लगती हैं। इसके बीजों के ऊपर सफेद भूसी होती है, जिसे इसबगोल भूसी कहते हैं।
इसबगोल में 75 से 80 % तक फाइबर होता है। जिसमे से 50 से 55 % तक सोलुबल फाइबर होता है और 25 % तक इन्सोलुबल फाइबर होता है। सोलुबल फाइबर वह होता है जो पानी में घुल जाता है और घुलने के बाद एक जैल की तरह का पदार्थ बनाता है। इन्सोलुबल फाइबर वो होता है जो पानी में इस तरह से घुलता नहीं है। इसबगोल से जो फायदे हमें मिलते हैं। उसका मुख्य कारण इसमें पाया जाने वाला यही फाइबर है। किसी भी और पदार्थ में किसी भी और चीज में इतनी ज्यादा मात्रा में फाइबर नहीं होता है। जितना इसबगोल में होता है इस फाइबर की वजह से ही हमें बहुत सारे हेल्थ बेनिफिट मिलते हैं।
अगर आप एक चम्मच इसबगोल खाते हैं तो आपको इसमें करीब 3 ग्राम फाइबर मिल जायेगा जो कि बहुत ही ज्यादा है। इसमें से दो ग्राम सोलुबल फाइबर होगा और एक ग्राम इन्सोलुबल फाइबर होगा। इसबगोल की खास बात यह भी है कि यह पानी को बहुत अधिक मात्रा में सोख लेते है। यह अपने वजन से लगभग 14% पानी को सोख लेता है। इसका कारण भी यही है इसमें पाया जाने वाला सोलुबल फाइबर जो पानी में घुलान्सिल होता है।
तो अब इसके फायदों के बारे में बात करते हैं ..
इसबगोल का सबसे पहला फायदा ये है कि यह एंटाएसिड होता है जैसे आपके पेट में जलन होती है तो आप एंटाएसीड दावा खाते हैं उस गोली को खाते ही आपकी जलन ठीक हो जाती है। कुछ लोग हर सुबह खाली पेट पक्की गोली खाते हैं। मतलब उन्हें हर रोज सुबह एक गोली खानी ही होती है जिन्हें ज्यादा हार्टबर्न की प्रोब्लम रहती है। ,एसिडिटी की प्रोब्लम रहती है तो ये जो इसबगोल है ये एंटाएसिड मेडिसिन की तरह ही काम करता है। यह पेट में जलन को शांत करता है, हार्टबर्न को ठीक करता है, आपके पेट में अगर ज्यादा एसिड बन रहा है तो उसे नोर्मल करता है।
इसमें जो इन्सोलुबल फाइबर होता है जो जैल के रूप में बदल जाता है। वह आपके पेट के दीवारों को सुरक्षा प्रदान करता है। जिससे आपको आपके पेट में जलन नहीं होती। अगर आप अपने एसिडिटी को ठीक करने के लिए इसबगोल खाना चाहते हैं तो आपको एक से 2 हफ़्तों तक इसका सेवन करना है। एक से दो हफ़्तों में आपकी समस्या ठीक हो जाएगी। उसके बाद अगर आप आगे भी इसका सेवन करना चाहते हैं तो आप कर सकते हैं।
इसका दूसरा फायदा ये है कि ये एक (Bulk forming) बल्क फोर्मिंग लेक्जेटिव है। इसका मतलब क्या है कि यह जब आपकी आंत में पहुचता है तो वहां पर एक बल्क यानि जो मटेरियल आंत में होता है उसके साथ मिलकर उसके भार को बढाता है। उसके वजन को बढाता है, उसकी मात्रा को बढाता है एक बल्क फोम करता है और एक लेक्जेटिव की तरह काम करता है,यानि एक लुब्रिकेंट की तरह काम करता है।
इससे होता क्या है कि जो आपकी आंत में मटेरियल होता है वह लुब्रिकेट हो जाता है। उसका वजन बढ़ जाता है, जिसकी वजह से आंत में उसकी मूवमेंट तेज हो जाती है और वह आंत से फटाफट बाहर निकल जाता है इससे ये होता है कि आपकी कब्ज दूर होती है। तो इसबगोल कब्ज दूर करने का एक बहुत अच्छा तरीका है।
अगर आपको माइल्ड कंस्तीपेशन है यानि आपको कब्ज कभी कभार होती है, तो आप तीन से पांच दिन तक इसबगोल का सेवन कर सकते हैं। अगर आपको क्रोनिक कंस्तीपेशन है यानि कई सालों से है तो फिर आप एक से तीन महीने तक इसबगोल का सेवन कर सकते हैं। उसके बाद आपको इस एक बार रोकना पड़ेगा वो में आपको आर्टिकल के आखरी में बताऊंगा।
इसका अगला फायदा यह है कि यह डायरिया को दूर करता है। डायरिया यानि दस्त, तो ये कंस्तीपेशन को भी दूर करता, कब्ज भी दूर करता है और दस्त भी दूर करता है। कैसे ठीक होता है इसके खाने के तरीके में फर्क होता है ये मैं आपको बताने वाला हूँ।
अगर आप इसको कंस्तीपेशन के लिए सेवन करना चाहते हैं तो आपको क्या करना है। अगर आप दूध पीते हैं तो आप एक ग्लास गरम दूध में एक से दो चम्मच पहले एक चम्मच मिलाइए एक से बात नहीं बनती है तो फिर दो चम्मच आपको एक ग्लास गरम दूध में इसबगोल डालकर आधे घंटे के लिए रख देना है। वो इसलिए ताकि ये पानी को पहले ही सोख ले।
अगर आप इसे सुखा खायेंगे तो फिर ये आंत के अन्दर जाकर पानी को सोखेगा जिससे कंस्तीपेशन और बढ़ेगी। तो आपको क्या करना है ,आपको इसे खाने से पहले बाहर ही दूध में भिगोना है और फिर रात को सोते समय इसको पीना है। अगर आप दूध नही पीते हैं तो आप एक ग्लास गुनगुने पानी में एक से दो चम्मच इसबगोल आधे घंटे के लिए भिगोकर रख दीजिये। आप देखेंगे कि इसने एक जैल का रूप ले लिया है। फिर आप इसे चम्मच से खा लीजिये, पी लीजिये। इससे आपकी कब्ज दूर होगी।
लेकिन अगर आप दस्त दूर करना चाहते हैं तो फिर आपको इसे बाहर पानी में नहीं भिगोना है। आपको इसे थोड़े से पानी के साथ, जैसे आप मान लीजिये आधा गिलास पानी लिया और एक चम्मच सुखा इसबगोल मुंह में रखकर इसे फटाफट पानी के साथ निगल लेना है। इससे क्या होगा कि जब ये आपकी आंत में पहुचेगा तो ये और ज्यादा आपकी आंत में पानी को सोखेगा और फुल जायेगा जिससे आपकी आंत में मौजूद पानी कम होगा। इससे आपके दस्त दूर होंगे और ये करता यह है कि आपकी इंटेसटाईन में आपकी आंत में जो हार्मफुल बक्टिरिया होते हैं उसे बाहर निकालता है। जिससे आपका इन्फेक्शन भी ठीक होता है।
यही कारण है कि जब अप सुखा इसबगोल खाते हैं तो आपके दस्त दूर होते हैं। एक तो ये अन्दर जाकर पानी को सोख लेता है और दूसरा ये इन्फेक्शन को मिटा देता है। इन्फेक्शन को अपने साथ चिपका कर बाहर निकाल देता है, तो ये दो तरीके हैं इसबगोल को खाने के, सिर्फ दस्त के केस में। आपको सुखा इसबगोल खाना है, बाकि सभी तरीकों में आपको इसबगोल को बाहर ही भिगोकर फिर खाना है।अगर आप सुखा लेंगे तो आपके अन्दर जाकर ये आपके मल को और सख्त कर देगा। जिससे कंस्तीपेशन और बढ़ जाएगी।
दोस्तों अब इसका अगला फायदा ये है कि ये भूख को दबाता है। लेकिन अगर आप इसे नार्मल मात्रा में खाते हैं। जैसे इसे एक से दो चम्मच खाते हैं तो फिर ये आपकी भूख को नहीं दबाएगा। अगर आप अपनी भूख को दबाना चाहते हैं तो फिर आपको इसे कम से कम 25 ग्राम की मात्रा में एक दिन में खाना होगा। तब इसका ये वाला इफ्फेक्ट होता है नही तो नहीं होता। तो अगर आप भूख को दबाना चाहते हैं और वजन कम करना चाहते हैं। क्योंकि अगर आपकी भूख दब जाएगी तो आपका वजन कम हो जायेगा। अगर आप ये वाला इफ़ेक्ट हासिल करना चाहते हैं तो आपको इसको 25 ग्राम की मात्रा में खाना है और ऐसा आपको दो से चार हफ़्तों तक करना है। इससे आपकी भूख कम होगी और आपका वजन कम होगा। अगर नार्मल मात्रा में खायेंगे तो फिर आपकी भूख कम नहीं होगी वजन कम नहीं होगा।
ये इंटेसटाईन को डेटोक्स करता है ये मैंने आपको पहले भी बता दिया की जब डायरिया होता है तो ये जो आत में हार्मफुल बैक्टीरिया होते हैं उसे बाहर निकाल देता है। नार्मल केस में भी मान लीजिये जब किसी और चीज के लिए इसका सेवन कर रहे हैं तो फिर भी ये आपकी आंत को डेटोक्स करता है।आपकी आंत के अन्दर जो भोजन के अनपचे कण होते हैं उनको ये बाहर निकाल देता हैं तो आंत की सफाई करने का ये एक बहुत ही अच्छा तरीका है। इसके अलावा ये डायजुरेटिक होता है एनी ये पेसाब की मात्रा हल्का सा बढ़ा देता है।
इसके अलावा इसका असर स्किन के ऊपर अच्छा होता है। ये आपकी स्किन को सॉफ्ट बनाता है और स्मूद बनाता है। ये इफ़ेक्ट खाने से नहीं होता लगाने से होता है, तो अगर आपको स्किन के ऊपर ड्रायनेस रहती है तो आप इसे पानी में भीगोकर इसका जैल बनाकर इसे स्किन के ऊपर लग सकते हैं। अगर आप ऐसा लगातार तीन महीने तक करेंगे तो आपको इसके बहुत अच्छे रिजल्टस मिलेंगे। आपके स्किन की ड्रायनेस दूर होगी इचीनेस दूर होगी स्किन के लिए इसका जो पेस्ट होता है ये बहुत अच्छा होता है।
इसके अलावा ये प्यास को भी दबाता है। अगर आपको बहुत ज्यादा प्यास लगती है तो ये उसे नार्मल कर देगा। ये इफ़ेक्ट हासिल करने के लिए आपको इसे एक से चार हफ़्तों तक खाना है । इसके अलावा ये डाईबिटिज को कण्ट्रोल करता है। इसका कारण भी इसमें मौजूद फाइबर है 75 % से 80 % जो सुलुबल और इनसोलुबल दोनों तरह के फाइबर होते है वह पेट में जाकर जैसे जैल बनाते हैं तो उससे आपकी डाईबिटिज कण्ट्रोल में होती है। तो अगर आप अपने डाईबिटिज को इसबगोल खाकर कण्ट्रोल करना चाहते हैं तो आपको तीन महीने लगातार इसका सेवन करना है।
इसके अलावा पुरुषों की एक बड़ी समस्या होती है नाईटफाल जिसे स्वप्नदोष भी कहते हैं। इस समस्या को भी इसबगोल ठीक करता है, इस समस्या को दूर करने के लिए आपको तीन महीने तक लगातार इसबगोल का सेवन करना है।
सभी समस्याओं में आपको इसबगोल को भिगोकर ही खाना है इस बात का ध्यान रखियेगा। सिर्फ दस्त होने पर आपको इसे सुखा खाना है, पानी के साथ निगलना है।
इसके अलावा महिलाओं की एक समस्या होती है ल्यूकोरिया इसे भी ये ठीक करता है। इसके लिए भी महिलाओं को इसे लगातार तीन महीने तक खाना है।
ड्राय कफ होने पर और थ्रोट में इरीटेशन होने पर इसबगोल बहुत फायदा करता है। जब आपके गले में खराश होती है तो आप बार बार खांसते रहते हैं और आपको रात को नींद नहीं आती तो आप इसबगोल को पानी में भिगोकर इसका जो जैल है अगर आप इसे धीरे धीरे खायेंगे तो ये जैल जैसे जैसे आपके गले से उतरेगा तो गले को आराम मिलता है। गले के अन्दर ये लुब्रिकेशन पैदा करता है जिससे गले की इरीटेशन ठीक होती है ,गले की खराश ठीक होती है और आपको इसका बहुत जल्दी रिजल्ट मिलता है। तो आप अपने ड्रायकफ को दूर करने के लिए एक हफ्ते तक इसका सेवन कर सकते हैं।
इसके अलावा ये हाई कोलेस्ट्राल को कम करता है इसका भी कारण यही होता है। इसका जो फाइबर होता है वह शरीर में जाकर आंत में अन्दर जाकर इस तरह का प्रभाव पैदा करता है जिससे कोलेस्ट्राल आपका कम होता है। इसके लिए भी आपको तीन महीने तक इसबगोल का सेवन करना है। कोलेस्ट्राल कम होने से आपका हाई ब्लड प्रेशर भी कम होता है क्योंकि हाई ब्लड प्रेशर होने का एक कारण हाई कोलेस्ट्राल भी होता है तो कोलेस्ट्राल कम करने से आपका ब्लड प्रेशर अपने आप कम हो जाता है। इसके लिए भी आपको तीन महीने तक इसबगोल का सेवन करना है।
यहाँ में आपको एक बात बता दूं अगर आप अपना कोलेस्ट्राल कम करना चाहते हैं और हाई ब्लड प्रेशर कम करना चाहते हैं तो दूध के साथ इसका सेवन न करें क्योंकि दूध में फैट होती है। कोलेस्ट्राल होता है, इसके लिए आप गुनगुने पानी के साथ ही इसका सेवन करें।
इसबगोल के कुछ साइड इफ़ेक्ट
इसके क्या नियम है वो भी में आपको बताऊंगा, क्योंकि इसबगोल के कुछ साइड इफ़ेक्ट भी हैं। इसका जो मेजर साइड इफ़ेक्ट है वो ये है कि इससे चोकिंग हो सकती है। यानि अन्दर जाकर जाम लगा सकता है आपकी आंत को ब्लाक कर सकता है और आपकी जो फ़ूड पाइप है, उसको भी ये जाम कर सकता हैं।
अब इसके मेजर साइड इफ्फेक्ट की बात करते हैं कि इसबगोल क्या करता है क्योंकि ये चिपचिपा होता है अगर आप इसे कम पानी के साथ इसे खा लिया तो ये आंत में जाकर चिपक सकता है या यह आपकी फ़ूड पाइप में भी चिपक सकता है। आप नोटिस करेंगे कि जब आप इसे सुखा खाते हैं तो ये आपके दांतों में भी चिपकता है तो बस आपको इस चीज का थोडा सा ध्यान रखना होता है। इसलिए आपक इसे बाहर ही पानी में भिगोकर खाना है।
और इसे आपको तीन महीने से ज्यादा लगातार बिलकुल नही खाना है। चाहे आप किसी भी बीमारी के लिए क्यों न खाते हों ,तीन महीने से ज्यादा न खाएं बीच में एक दो महीने के लिए छोड़ दें। ऐसा करने से क्या होगा थोडा बहुत अगर इसका बेड इफ़ेक्ट होगा तो वो शरीर से बाहर हो जायेगा, तो बस इस बात का ध्यान रखे।